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भिण्डः सामुहिक रूप से चल रही नकल, लिया जाता है ठेका पैसा लेकर पास कराने का

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Mar 16, 2019

गिरिराज बोहरे- भिण्ड में जीवाजी विश्वविद्यालय की बीए फस्ट इयर और बीएससी की परीक्षाएं चल रही है। इन परीक्षाओं में नकल रोकने की तैयारी विश्वविद्यालय के द्वारा पहले से  ही की जा रही थी। फिर भी हालत यह है कि कल बीए 1 सेमेस्टर के हिंदी के पेपर में शासकीय महाविद्यालय अटेर में जमकर सामुहिक रूप से नकल चली। विद्यार्थियों को प्रशासन का किसी प्रकार का कोई डर ही नहीं दिखा। दरअसल भिण्ड नकलरूपी राक्षस के लिए प्रदेश में वैसे ही बदनाम है। आज फिर इसका जीता जागता उदाहरण देखने को सामने मिला है।

नकल को रोकने से पूरी तरह से तत्पर रहते हैं - लीड प्रचार्य मंजू अवस्थी

एमजेएस महाविद्यालय भिण्ड की लीड प्रचार्य मंजू अवस्थी ने बताया कि पहले विश्वविद्यालय में एक मीटिंग बुलाई गई, जिसमें समस्त प्रचार्यों को बुलाया गया था। वहां अपने जिले के बारे में सारी जानकारी बताई। यहां लहार, मेहगांव, अटेर, गोहद इनमें परीक्षा केंद्र बनाए गए हैं। जिनके सफल संचालन के लिए हमने एक फ्लाइंग स्कोड भी बनवाया, उसमें  5 लोगों की ड्यूटी लगाई है। वो वहां औचक छापा मारते हैं, नकल को रोकने से पूरी तरह से तत्पर रहते हैं। जिले में परीक्षाएं बहुत अच्छी चल रही हैं।

गाइड और मोबाइल फोन के भऱपूर इस्तेमाल से हो रहा नकल

अटेर के शासकीय महाविद्यालय में बीए की परीक्षाओं में विद्यार्थियों के द्वारा परीक्षा केंद्र में एक ही हॉल में जमीन पर बैठकर  गाइड और मोबाइल फोन से नकल किया जा रहा था। इन छात्रों से पैसा लेकर पास कराने का ठेका भी लिया जाता है। जिसके एवज में इनको नकल भरपूर तरीके से कराई जाती है। जब फलाइंग स्कॉड चेकिंग आती है। तब पहले से ही इन छात्रों को कर्मचारियों के द्वारा सूचना देकर गाइड ले ली जाती है। चेकिंग के जाने के बाद नकल दोबारा से फिर दे दी जाती है। छात्रों का नकल कराकर इनका भविष्य विगाड़ने का काम महाविद्यालय के प्रोफेसर कर रहे हैं। सबसे बड़ी लापरवाही तो यह कि इन छात्रों की चेकिंग नहीं की जाती है। जिसकी वजह से 20 सीरीज और मोबाइल फोन परीक्षा केंद्र तक जाते है। यदि चेकिंग की जाती है तो फिर यह सामग्री अंदर परीक्षा केंद्र तक कैसे जाती है। यह कहा जाए कि चेकिंग के नाम पर दिखावा करके प्रशासन की आंखों में धूल झोंकी जा रही है। परीक्षा केंद्र में तैनात प्रोफेसर इन नकलचियों को खुलेआम नकल करने दे रहे हैं और खुद मूकदर्शक बने बैठे हैं। इस पूरे मामले में एमजेएस महाविद्यालय की प्राचार्य ने इन सारी बातों को नकारते हुए कहा कि जिले में परीक्षा बहुत अच्छे से चल रही है, लेकिन तस्वीर कुछ और ही बयां कर रही थी।