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बिना नंबर की बाइक पर पुलिस ने शुरू किये नंबर लिखवाने का काम

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Mar 1, 2019

वरूण शर्मा- आमतौर पर वाहनों में नम्बर लिखने का काम आरटीओ विभाग का होता है। मगर चित्रकूट से 2 मासूम जुड़वां भाइयों के अपहरण और उनकी हत्याकांड में 4-4 बाइकों के इस्तेमाल के बाद, पुलिस की उन बाइकों पर खास निगाह पड़ी, जिनके प्लेट में नम्बर ही नहीं पड़े हैं। पुलिस ने ऐसे वाहनों की धरपकड़ शुरू की और उनके रजिस्ट्रेशन कार्ड को देखकर पेंटर से नम्बर लिखवाने का काम शुरू किया।

सांप के गुजर जाने के बाद पुलिस पीट रही लकीर

चित्रकूट में एक परिवार की खुशियां मिटने के बाद, अब पुलिस लकीर पीट रही है। 2 मासूम जुड़वां भाइयों को अगवा कर उनकी हत्या के बाद पुलिस ने उन बाइकों को टारगेट करना शुरू कर दिया जिनकी नम्बर प्लेट में गाड़ी का रजिस्ट्रेशन नहीं लिखा। दरअसल, अपहरणकांड में चार बाइक और एक बुलेरो गाड़ी का इस्तेमाल किया गया था। यह अभियान पूरे जिले में चलाया गया। पुलिसवालों ने चुन-चुनकर बगैर नम्बर वाली बाइक और स्कूटरों को पकड़कर खड़ी करवा ली। बाइक सवारों से पहले रजिस्ट्रेशन कार्ड मांगा गया और फिर उस कार्ड के आधार पर उनके नम्बर प्लेट में रजिस्ट्रेशन नंबर लिखा गया। नम्बर लिखने के लिए पुलिस प्रशासन ने बकायदा पेंटरों की व्यवस्था की थी। इस काम में आरटीओ संजय श्रीवास्तव और सिटी मजिस्ट्रेट संस्कृति शर्मा मैदान पर डटे रहे। खबर है कि ऐसा उच्चाधिकारियों के निर्देश पर किया जा रहा है। बाइक के बाद बगैर नम्बर वाले चार पहिया वाहनों के खिलाफ अभियान चलाया जाएगा।