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वोटर लिस्ट की तकनीकी गड़बड़ियां अब शीघ्र होंगी दूर : मुख्य निर्वाचन आयुक्त

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Apr 11, 2018

भारत निर्वाचन आयोग के मुख्य निर्वाचन आयुक्त ओ.पी. रावत ने कहा है कि मध्य प्रदेश में आयोग द्वारा तैयार सॉफ्टवेयर ईआरओ नेट के जरिए वोटर लिस्ट को सुधारने का कार्य किया जा रहा है। उन्होंने इस बात से स्पष्ट इन्कार किया कि प्रदेश की वोटर लिस्ट में फर्जी अथवा बोगस मतदाताओं के नाम है। ये उन मतदाताओं के नाम है जो पिछले दिनों चले समरी रिवीजन और विशेष अभियान में अनुपस्थित, स्थानांतरित, मृत और दोहरी प्रविष्टि के रूप सामने आए है। ओ.पी. रावत आज मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय में वोटर लिस्ट की शुद्धता के संबंध में निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण अधिकारियों की बैठक को संबोधित कर रहे थे। 

तकनीकी कमियों को किया जाएगा दूर
ओ.पी. रावत ने कहा है कि ई.आर.ओ. नेट के संचालन को लेकर जो तकनीकी कमियां सामने आ रही है, उन्हें शीघ्र ही दूर किया जायेगा। इस संबंध में कठिनाई उत्पन्न होने पर मार्गदर्शन के लिए जिला कलेक्टर सीधे आयोग से भी सम्पर्क कर सकते है। आगामी विधानसभा चुनाव के काफी पहले वोटर लिस्ट को पूरी तरह शुद्ध, निष्पक्ष और पारदर्शी बना लिया जायेगा। 

जो लोग चुनाव को प्रभावित कर सकते है, उनसे पूरी तरह से बचे
ई.आर.ओ. नेट संबंधी जो भी कठिनाइयां है, उन्हें चालू माह में ही दुरुस्त कर लिया जायेगा। उन्होंने चुनावी अमले से कहा कि वे पूरी ईमानदारी और निष्ठा से कार्य करें, ताकि किसी भी प्रकार की गलती होने की गुंजाईश न रहे। चुनाव को प्रभावित करने वाले किसी भी हथकंडे को सफल न होने दे। जो लोग चुनाव को प्रभावित कर सकते है, उनसे पूरी तरह से बचे। निर्वाचन प्रक्रिया को सम्पन्न करवाने में अत्याधिक सावधानी बरती जाए। योजनाबद्ध तरीके से चुनाव की तैयारियां की जाए। निर्वाचन अमला ऐसे प्रयास करे, जिससे चुनाव अच्छी तरह से सम्पन्न हो सके। चुनाव आयोग भी तय करेगा कि निर्वाचन अमले के समक्ष जो कठिनाईयां उत्पन्न हो रही है, उसे दूर किया जाए।

दोहरी प्रविष्टि वाले नामों को हटाया जाएगा
रावत ने बताया कि प्रदेश में विगत 15 जनवरी तक चले स्पेशल समरी रिवीजन के दौरान 3 लाख 83 हजार 203 नामों को अनुपस्थित, स्थानांतरित, मृत और दोहरी प्रविष्टि के कारण अपात्र बताया गया है। चूँकि वोटर लिस्ट को अपडेट करने की प्रक्रिया सतत चलती है, इसलिए 15 मार्च से 7 अप्रैल तक चले विशेष अभियान के बाद 6 लाख 73 हजार 884 ऐसे मतदाताओं के नाम सामने आए जो अनुपस्थित, स्थानांतरित, मृत या दोहरी प्रविष्टि वाले है। इन नामों को भी नियमानुसार हटाया जायेगा। 

जेण्डर रेशों का अंतर होना चाहिए कम
रावत ने कहा कि जेण्डर रेशों का अंतर और कम होना चाहिए। वोटर लिस्ट में अधिक महिलाओं के नाम जोड़े जाए। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के सुझाव पर उन्होंने आगामी चुनाव के पहले अगस्त-सितम्बर में मतदाता सूची के विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्यक्रम (समरी रिवीजन) के लिए सहमति दी।

चुनाव आयोग जल्द ही लांच करेगा ई.आर.ओ. नेट का नया वर्जन 
संदीप सक्सेना ने बताया कि चुनाव आयोग ई.आर.ओ. नेट का नया वर्जन आगामी 19 अप्रैल को लांच करेगा। इससे ई.आर.ओ. नेट की अनेक कमियां दूर हो सकेगी। उन्होंने इस बात की सराहना की कि मध्यप्रदेश में वोटर लिस्ट का कार्य अत्यंत सूक्ष्मता से हो रहा है। सक्सेना ने नि:शक्तजन मतदाताओं का डाटा बेहतर तरीके से रखने के लिए प्रदेश के निर्वाचन कार्यालय को बधाई दी।

वोटर लिस्ट शुद्धता के संबंध में किए जा रहे कार्यों का हुआ प्रस्तुुतिरण
सलीना सिंह ने ई.आर.ओ. नेट के संचालन में अधिकारियों को हो रही कठिनाइयों का जिक्र करते हुए कहा कि तकनीकी कारणों से बहु प्रविष्टि जैसी विभिन्न त्रुटियों को शीघ्र दूर करने के पुख्ता उपाय होना चाहिए। ई.आर.ओ. नेट के माध्यम से प्रविष्टि के बाद डाटा तत्काल प्रदर्शित हो, ताकि किसी प्रकार की भ्राँति न हो। उन्होंने बताया कि वोटर लिस्ट से अपात्र नामों को प्रक्रिया के तहत हटाने का कार्य तेजी से किया जा रहा है। सिंह ने वोटर लिस्ट की शुद्धता के संबंध में किये जा रहे कार्यों का विस्तृत प्रस्तुतिकरण भी किया।

प्रारंभ में सलीना सिंह, संदीप यादव और संयुक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी एस.एस. बंसल ने अतिथियों का स्वागत किया। कार्यक्रम का संचालन प्रवास जैन ने किया। बैठक में मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी सलीना सिंह, उप चुनाव आयुक्त संदीप सक्सेना, राज्य इलेक्ट्रॉनिक विकास निगम के प्रबंध संचालक मनु श्रीवास्तव, अतिरिक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी संदीप यादव, संभागायुक्त अजातशत्रु भी उपस्थित थे।