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महागठबंधन के फॉर्मूले पर एनसीपी चीफ शरद पवार की राय

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Jun 25, 2018

बीजेपी के खिलाफ महागठबंधन के फॉर्मूले पर एनसीपी चीफ शरद पवार की राय जरा अलग है इस मुद्दे पर सवाल के जवाब में पवार ने कहा, ऐसी समझ राज्यों में दलों के क्षेत्रीय मजबूती के कारण व्यावहारिक नहीं है पवार ने कहा, मीडिया में कई अटकलें हैं, एक वैकल्पिक महागठबंधन के लिए बहुत कुछ लिखा गया। लेकिन मैं ऐसा कुछ नहीं देख पा रहा हूं मैं कोई संभावना नहीं देख रहा हूं।

पवार ने कहा, मेरे मूल्यांकन के अनुसार, यह एक राज्यवार स्थिति होगी। तमिलनाडु जैसे राज्य हो सकते हैं, जहां नंबर एक पार्टी डीएमके होगी और अन्य गैर-बीजेपी दलों को इसे स्वीकार करना होगा। यदि आप कर्नाटक, गुजरात, मध्य प्रदेश, राजस्थान, पंजाब जाते हैं, तो आप पाएंगे कि कांग्रेस नंबर एक पार्टी होगी। आंध्र प्रदेश में, तेलुगू देशम पार्टी को स्वीकार करना होगा। तेलंगाना में के. चंद्रशेखर राव की पार्टी महत्वपूर्ण होगी। ओडिशा में, नवीन पटनायक महत्वपूर्ण होंगे। बंगाल में, ममता बनर्जी होगी यह लोग राज्य के नेता के रूप में अपने राज्यों में गठबंधन के रूप में अपनी स्थिति को मजबूत नहीं करेंगे।

पवार ने कहा, चुनाव के बाद पूरी संभावना है कि यह सभी नेता एक साथ आएंगे क्योंकि चुनाव का कुल जोर बीजेपी के खिलाफ था यह सभी शक्तियां एक साथ आ जाएंगी और कुछ विकल्प मिलेंगे ताकि देश की लगाम बीजेपी को सौंप ना सके। मुझे विश्वास है पवार ने दोहराया, चुनाव के पहले कोई गठबंधन नहीं होगा। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के प्रधानमंत्री बनने की संभावना और संभावनाओं पर पवार ने कहा, मैं यह नहीं कह सकता, किसी भी व्यक्ति के बारे में कुछ भी नहीं कह सकता। आखिरकार, उनकी स्वीकार्यता महत्वपूर्ण है गौरतलब है कि बीजेपी के खिलाफ सभी दल एक जुट होकर सामना करने कि नीति पर एक जुट होने पर विचार कर रहे है।