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मध्यप्रदेश में शिवराज कैबिनेट की पहली 'टिफिन कैबिनेट' सम्पन्न

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May 2, 2017

भोपाल। मध्यप्रदेश की शिवराज सरकार ने आज मंत्रालय में पहली 'टिफिन कैबिनेट' के आयोजन से पहले दो ऐसे एतिहासिक फैसले लिए हैं, जो पूरे देश की विधायिकाओं के लिए नजीर बन जाएंगे।शिवराज कैबिनेट ने अंग्रेजों के बनाए वित्तीय वर्ष 'अप्रैल से मार्च' को बदलने का निर्णय लिया है, मध्यप्रदेश में अब सरकारी वित्तीय वर्ष 'जनवरी से शुरू होकर दिसंबर' तक माना जाएगा। इसके अलावा सभी सरकारी दस्तावेज, विज्ञापन और प्रचार सामग्री में पंडित दीनदयाल उपाध्याय का 'लोगो' लगाया जाएगा। भाजपा पं. दीनदयाल उपाध्याय का जन्मशती वर्ष मना रही है। ये दोनों निर्णय लेने वाला मध्यप्रदेश देश का पहला राज्य बन गया है।

जीएसटी को मंजूरी देने के लिए कल बुलाए गए एक दिन के विशेष विधानसभा सत्र में गंगा की तर्ज पर नर्मदा नदी को भी 'जीवित ईकाई' मानने का आग्रह करने वाला संकल्प पारित कर केन्द्र सरकार को भेजा जाएगा। पहली बार आयोजित 'टिफिन कैबिनेट' के लिए आज 11 बजे से मंत्रीगण, मंत्रालय आ गए थे। मंत्रियों के साथ दो दौर की बैठक के बाद दोपहर में टिफिन कैबिनेट शुरू हुई। इसके लिए मुख्यमंत्री से लेकर सभी मंत्री अपने—अपने  घर से टिफिन लेकर आए थे। मंत्री रुस्तम सिंह तो एक बड़े झोले में भोजन लाये थे। अर्चना चिटनीस, गौरीशंकर बिसेन, विश्वास सारंग और संजय पाठक ने अपने घर से लाए अलग—अलग व्यंजन मुख्यमंत्री सहित अन्य मंत्रियों को परोसे। मुख्यमंत्री के साथ सभी मंत्रियों ने मिल बैठ कर भोजन की इस पहल का स्वागत किया। 

मध्यप्रदेश में अब नया बजट एक अप्रैल के बजाए पहली जनवरी से लागू होगा। शिवराज कैबिनेट की बैठक के दौरान यह निर्णय लिया गया। कैबिनेट ने प्रदेश के विभागों को निर्देश दिये हैं कि वे अपनी योजनाओं को ऐसा बनाएं कि बजट दिसंबर माह तक उपयोग किया जा सके। यही नहीं, अब सभी सरकारी दस्तावेज, विज्ञापन और प्रचार सामग्री में पंडित दीनदयाल उपाध्याय का 'लोगो' लगाया जाएगा। ये दोनों निर्णय लेने वाला मध्यप्रदेश देश का पहला राज्य बन गया है। 

कैबिनेट ने नर्मदा को जीवित ईकाई मानने संबंधी संकल्प के प्रारूप को भी मंजूरी दी। इसे कल विधानसभा के विशेष एक दिवसीय सत्र में पारित कराया जाएगा। कैबिनेट ने परिवहन विभाग में रोटेशन खत्म करने के प्रस्ताव को फिलहाल रोक दिया है। कुछ वदलाव के साथ इसे अगली कैबिनेट में फिर लाया जाएगा। वहीं मुख्यमंत्री ने विभागों के बीच के आपसी विवाद सुलझाने के भी निर्देश मंत्रियों को दिये हैं। 

मंत्रालय में आज आदिम जाति और अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री ज्ञान सिंह भी लम्बे अंतराल के बाद पहुंचे। ज्ञान सिंह कैबिनेट की बैठक में शामिल हुए, सांसद बनने के बाद ज्ञान सिंह पहली बार कैबिनेट में आये थे। मुख्यमंत्री और मुख्यसचिव सहित अधिकारियों का आज का दिन खासा व्यस्त रहा। सीएम ने आज समाधान ऑनलाइन, विधानसभा के विशेष सत्र सहित प्रधानमंत्री की यात्रा को लेकर बैठकें लीं। नगरीय निकाय चुनाव को लेकर भी चुनिदा मंत्रियों के साथ मुख्यमंत्री बैठक लेने वाले हैं।