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NEET विवाद के बीच बना पेपर लीक विरोधी कानून, 10 साल की सजा, 1 करोड़ तक जुर्माने का प्रावधान

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Jun 22, 2024

पेपर लीक को लेकर इस साल फरवरी में पारित कानून आज से लागू हो गया है. सरकार ने कानून की अधिसूचना जारी कर दी है. सार्वजनिक परीक्षा अधिनियम 2024 के लागू होने के बाद, सार्वजनिक परीक्षा में अनुचित साधनों का उपयोग करने पर तीन से पांच साल की कैद और 10 लाख रुपये तक का जुर्माना हो सकता है.

कानून में किस तरह के दंड हैं?

कानून में जालसाजी को रोकने के लिए न्यूनतम तीन से पांच साल की जेल की सजा और ऐसे संगठित अपराध में शामिल पाए जाने वालों के लिए पांच से दस साल की जेल का प्रावधान है.  प्रस्तावित कानून में न्यूनतम 1 करोड़ रुपये जुर्माने का प्रावधान है.

सभी परीक्षाएं कानून के दायरे में आएंगी

यह विधेयक यूपीएससी, एसएससी, रेलवे द्वारा आयोजित प्रतियोगी परीक्षाओं, बैंकिंग भर्ती परीक्षाओं और राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (NTA) द्वारा आयोजित सभी कंप्यूटर आधारित परीक्षाओं को कवर करेगा. सार्वजनिक परीक्षा अधिनियम 2024 में कहा गया है कि प्रश्न पत्र या उत्तर कुंजी लीक करना, किसी भी सार्वजनिक परीक्षा में किसी उम्मीदवार को प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से गैरकानूनी रूप से सहायता करना, और किसी भी व्यक्ति, व्यक्तियों के समूह या संगठन द्वारा कंप्यूटर नेटवर्क या कंप्यूटर संसाधनों या कंप्यूटर सिस्टम के साथ छेड़छाड़ करना शामिल है .

Report By:
Devashish Upadhyay.