Loading...
अभी-अभी:

तारीख पर तारीख का सफर, आखिर कब होगा खत्म: अयोध्या विवाद

image

Feb 8, 2018

हाल ही में अयोध्या मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। सुप्रीम कोर्ट केस से जुड़े अलग-अलग भाषाओं के ट्रांसलेट किए गए 9,000 पन्नों को देखेगा। सुप्रीम कोर्ट के 3 जजों की स्पेशल बेंच इस मामले की सुनवाई कर रही है। चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा के अलावा बेंच में जस्टिस अशोक भूषण और जस्टिस अब्दुल नजीर हैं। 

वहीं इस बारे में सुन्नी वक्फ बोर्ड का कहना है कि अभी उन्हें दस्तावेजों के अनुवाद के लिए कुछ और समय चाहिए। इसी के साथ सुप्रीम कोर्ट ने मामले की सुनवाई 14 मार्च तक टाल दी साथ ही कोर्ट ने 7 मार्च तक सभी दस्तावेजों को जमा करवाने के लिए आदेश दिया है।आपको बता दें कि सुनवाई के दौरान कपिल सिब्बल मौजूद नहीं रहे। कोर्ट ने कहा है कि पहले मुख्य याचिकाकर्ता की सुनवाई होगी, उसके बाद अन्य याचिकाओं पर सुनवाई की जाएगी।

सुन्नी वक्फ बोर्ड की ओर से एज़ाज मकबूल ने कोर्ट में कहा है कि अभी दस्तावेज़ का अनुवाद पूरा नहीं हुआ है, जिन्हें सुनवाई के दौरान कोर्ट में पेश किया जाना हैं। सुन्नी वक्फ बोर्ड ने कहा है कि अभी दस किताबें और दो वीडियो कोर्ट के सामने पेश किए जाने हैं। 42 हिस्सों में अनुवादित दस्तावेज कोर्ट में जमा किए जा चुके हैं। तुषार मेहता जो उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से है। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से कहा है कि गीता और रामायण का अनुवाद भी कोर्ट में जमा होने चाहिए। इस मामले में मुख्य याचिकाकर्ता रामलला, सुन्नी वक्फ बोर्ड और निर्मोही अखाड़ा हैं।