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शासकीय योजनाओं से वंचित हुआ पीड़ित परिवार, 9 सालों से लगा रहे कार्यालयों के चक्कर

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Nov 28, 2019

रेखराज साहू : प्रशासनिक लापरवाही के कारण एक गांव के पांच परिवार के लोग पिछले 9 सालों से शासकीय योजनाओं का लाभ पाने के लिए शासकीय कार्यालयों के चक्कर लगाने को मजबूर हैं पर उन्हें आज तक सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं मिल सका है। विडम्बना यह है कि सरपंच आरक्षण के समय उस गांव का आरक्षण लाटरी में अनुसूचित जाति के लिए हुआ,पर शासकीय रिकार्ड में उस गांव में अनुसूचित जाति का कोई भी आदमी निवास नहीं करता है इसलिए वहाॅ का आरक्षण अनुसूचित जाति से बदलकर अनारिक्षत पिछड़ा वर्ग महिला कर दिया गया है।

इंसाफ की गुहार लगा रहा पीड़ित परिवार
बता दें कि जब इसकी जानकारी अनुसूचित जाति के पांच परिवारों को हुई तो एक बार फिर शासकीय कार्यालय में फरियाद करने आये और मामले का खुलासा हुआ। पीड़ित परिवार जहां इंसाफ की गुहार लगा रहा है। वहीं आला अधिकारी जांच के बाद कार्यवाही का भरोसा दिला रहे है। महासमुंद विकास खण्ड मुख्यालय से जो 6 किमी की दूरी पर बसा है गांव लाफिनकला। जहां की जनसंख्या 1190 है। 243 परिवार वाले पिछडा वर्ग बाहुल्य इस गांव के लोगों का मुख्य व्यवसाय कृषि है। इसी गांव में अनुसूचित जाति के 5 परिवार निवास करते है। उन्हीं में से एक है जयपाल सतनामी,जो पिछले 9 सालों से शासकीय योजनाओं का लाभ पाने के लिए ग्राम पंचायत से लेकर शासकीय कार्यालय तक के चक्कर लगा रहे है,पर 2011 की सामाजिक आर्थिक एवं जाति जनगणना (एसईसीसी सूची) की सूची में नाम नहीं होने के कारण जयपाल को शासकीय योजना जैसे प्रधानमंत्री आवास योजना ,उज्जवला योजना ,संचारक्रांति जैसी योजनाओं का लाभ नही मिल पा रहा है और जसपाल शासकीय विभागों के चक्कर लगाने को मजबूर है। ऐसा नही है कि 2011 में जयपाल की जनगणना नहीं हुई है। जयपाल के पास सारे रिकार्ड मौजूद है कि उनकी जनगणना 2011 में हुई थी। 

शासकीय रिकॉर्ड में नहीं है नाम..
जयपाल के पास वो पावती भी है जब उनकी जनगणना की गई है। उसकी तारिख है 3-11-2011 ,पुस्तिका क्रमांक 1145, पर्ची क्रंमांक 116 है। इसके साथ ही ग्राम पंचायत के एसईसीसी ड्राफ्ट सूची में जयपाल का नाम होने के बावजूद भी शासकीय रिकॉर्ड में ग्राम लाफिनकला में एक भी परिवार अनुसूचित जाति का नहीं होना दर्शाता है। हाल ही में त्रिस्तरी पंचायत चुनाव के लिए सरपंच पद के आरक्षण का कार्य संपादित हुआ। जिसमें ग्राम लाफिनकला में सरपंच पद के लिए लाटरी अनुसूचित जाति के लिए निकली पर शासकीय रिकॉर्ड में अनुसूचित जाति का कोई भी परिवार निवास नहीं करता है इसलिए विलोपित कर अनारक्षित पिछडा वर्ग महिला कर दिया गया। जब इसकी जानकारी जयपाल को हुई तो वे एक बार फिर प्रशासन से गुहार लगाने आ गये। पीडित का कहना है कि प्रशासनिक लापरवाही के कारण मै पिछले 9 सालों से योजनाओं का लाभ पाने के लिए भटक रहा हूं। इस पूरे मामले में जिला पंचायत के सीईओ का कहना है कि मीडिया के माध्यम से ये जानकारी हुई है। अब इस पर जांच कराकर जो संभव हो सकेगा उसे किया जावेगा।

कम्प्यूटर में डाटा फीड करते वक्त हुई लापरवाही
गौरतलब है कि जनगणना के बाद कम्प्यूटर में डाटा फीड करते वक्त लापरवाही बरतने के कारण ऐसा हुआ है,जो अब सुधार पाना संभव नहीं है। फिर भी देखना होगा कि पीड़ित परिवार को आखिर कब तक इंसाफ मिलेगा ये एक बडा सवाल है।