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अम्बिकापुर में 20 सालों से चली आ रही है जल चढ़ाने की परंपरा, जानिए क्या है मान्यता...

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Jul 31, 2019

राम कुमार यादव : अम्बिकापुर से लेकर कैलाश गुफा तक की कांवर यात्रा की शुरुआत को करीब 20 साल हो गया। तब से लेकर आज तक सावन के दूसरे सोमवार से सावन के आखिरी दिन तक जल चढाने की परंपरा बन गई है। इस परंपरा मे कांवरियो की सेवा पानी के लिए जगह जगह सामाजिक संगठन के लोग पंडाल बना कर तैनात रहते हैं, लेकिन इस बार प्रदेश के खाद्यमंत्री ने भी कांवरियो की सेवा के लिए बतौली मे पंडाल डाल लिया था और इस दौरान उन्होने अपने समर्थको के साथ कैलाश गुफा में जल अर्पित करने वाले कांवरियो की जमकर खातिरदारी की।

सावन के दूसरे सोमवार आने से पहले शनिवार को अम्बिकापुर स्थित शंकरघाट मे भगवाधारी कांवरियो का भीड इकट्ठा होने लगी और फिर ये हर साल की तरह इस साल भी कांवरियां जल उठाकर जशपुर जिले के एक पहाडी मे स्थित कैलाश गुफा के लिए निकल पडे और रास्ते भर कांधे मे कांवर लिए शिव भक्त महिला, पुरुष , बच्चे सब बोल बम के नारे लगाते लगाते 70 किलोमीटर दूर की कठिन यात्रा में कांवरियो की सेवा मे लोग पंडाल लगाए खडे रहे और कांवरियो की सहुलियत के लिए हर संभव मदद करते रहे लेकिन इस बार जिले के सीतापुर विधायक और प्रदेश के खाद्यमंत्री भी अपनी पूरी टीम के साथ कांवरियो की सेवा और मनोरंजन की व्यवस्था के साथ रास्ते मे पडने वाले बतौली मे तैनात रहे तो वही कैलाश गुफा जल चढाने वाले श्रद्दालु भी भोले को जल अर्पित करने के लिए काफी उत्साहित नजर आए।