Jun 1, 2020
विकास सिंह सोलंकी : कोरोना वायरस को लेकर चार बार लॉकडाउन के बाद प्रदेश की आर्थिक राजधानी इन्दौर में दो माह के बाद शर्तों के साथ आज से कुछ रियायत दी गई है। इसी को लेकर शहर की स्थिति का जायजा लेने प्रमुख सचिव इकबाल सुलेमान इन्दौर दौरे पर हैं।
प्रमुख सचिव की विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक
प्रमुख सचिव ने संभागायुक्त कार्यालय पर प्रशासनिक अधिकारी और स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक लेकर कोरोना वायरस को लेकर दिशा निर्देश जारी किए हैं। इस दौरान प्रमुख सचिव ने मीडिया से चर्चा में बताया कि दो माह के बाद इन्दौर शहर में आर्थिक गतिविधि के लिए कुछ छूट दी गई है। पिछले दो माह से ज्यादा समय से इन्दौर में लॉकडाउन है। कोरोना वायरस इन्दौर में सबसे ज्यादा तेजी से फैला है। यही कारण है कि इन्दौर के आंकड़े प्रदेश के पचास प्रतिशत तक के हैं।
लॉकडाउन के बाद कोरोना का संक्रमण बढ़ने की संभावना ज्यादा
प्रमुख सचिव ने बताया कि भले ही लॉकडाउन में कुछ छूट दी गई है लेकिन सावधानी रखना ज्यादा जरूरी है। वहीं लॉकडाउन में रियायत के बाद कोरोना का संक्रमण बढ़ने की संभावना ज्यादा है। इसीलिए हमने कोरोना वायरस को लेकर अस्पताल तैयार करने का काम किया है। खासकर कोरोना वायरस को लेकर आक्सीजन वाले वार्ड बनाए गए हैं। हम हर स्थिति से निपटने के लिए तैयार है। कोरोना वायरस ने जब दस्तक दी थी तब हम प्रदेश में सिर्फ 60 मरीजों की सेम्पल की जांच कर पा रहे हैं लेकिन हमने अपनी टेस्टिंग क्षमता लगातार बढ़ाई है और अब हम हजारों की संख्या में सैम्पलों की जांच कर पा रहे हैं।
लॉकडाउन खुलने के बाद और भी सतर्क रहने की जरूरत
वहीं कोरोना की टेस्टिंग को लेकर प्रदेश सरकार ने मशीन का आर्डर भी दिया है जो जल्द ही इन्दौर को मिलेंगी जिसका भुगतान भी किया जा चुका है। प्रमुख सचिव ने बताया कि लॉकडाउन खुलने के बाद हमें और सतर्क रहने की जरूरत है। आर्थिक गतिविधियों के साथ कोरोना के संक्रमण भी बढ़ेंगे लेकिन जीवन जीने के लिए आर्थिक गतिविधि जरूरी है इसीलिए हम सबको मिलकर कोरोना से जंग जीतना है।
मध्यप्रदेश सरकार ने खोले फीवर क्लीनिक
कोरोना वायरस को लेकर प्रदेश सरकार ने फीवर क्लिनिक खोंले हैं। वहीं लोंगो के घरों में जाकर भी स्क्रीनिंग की जा रही है। आगामी दिनों में मौसम में परिवर्तन भी होना है। बारिश में मौसमी बीमारी की दस्तक भी होती है। इसीलिए हमें अपना इम्युनिटी पावर बढाना है। कोरोना वायरस को रोकने के लिए मास्क सेनेटाइजर सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना है। वहीं एमवाय अस्पताल द्वारा पीपीटी किट लौटाए जाने को लेकर कहा कि मुझे ऐसी कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। हमें जो किट मिलती है वह भारत सरकार उपलब्ध करवाता है।
डॉक्टर की पुष्टि करने के बाद ही मरीज अस्पताल से होगा डिस्चार्ज
निजी अस्पताल द्वारा कोरोना पेशेंट को ज्यादा समय रखने को लेकर कहा कि पेशेंट का इलाज कर रहे डॉक्टर की पुष्टि के बाद ही मरीज को डिस्चार्ज किया जा सकता है। कोरोना रिपोर्ट व्यक्ति की मौत के बाद आने को लेकर इस मामले की जांच संभागायुक्त आकाश त्रिपाठी को करने के निर्देश प्रमुख सचिव ने दिए हैं। वही लोगों से कोरोना वायरस से बचाव करने की अपील प्रमुख सचिव ने की है।