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सामूहिक मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना में शामिल हुए पूर्व से विवाहित जोड़े

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Jun 10, 2019

प्रशांत चौरसिया : दमोह जिला मुख्यालय पर मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना के तहत करीब 500 जोड़ों का विवाह कराया गया। दमोह की कृषि उपज मंडी में आयोजित होने वाले इस विवाह समारोह में भाजपा से कांग्रेस में पहुंचे डॉ रामकृष्ण कुसमरिया, स्थानीय विधायक राहुल सिंह लोधी, पूर्व विधायक प्रताप सिंह लोधी ने पहुंचकर वर वधू को आशीर्वाद दिया। आयोजन कर्ताओं द्वारा फर्जीवाड़े की आशंका साफ नजर आई, क्योंकि इसमें कई ऐसे जोड़े शामिल हुए जिनके विवाह कुछ महीनों पहले हो चुके थे। कुछ नवविवाहित जोड़ों ने इस बात को स्वीकार भी किया कि उनका विवाह पहले हो चुका है। वे लोग लाभ उठाने के लिए यह सब कुछ कर रहे हैं। 

कई दुल्हन तो विवाह के पूर्व ही सुहाग की निशानी मांग भरे हुए नजर आई। जब इनसे पूछा गया तो उन्होंने चुप्पी साध ली। कई जोड़े शादी के पहले ही एक दूसरे के साथ बातचीत करते नजर आए। इससे साफ जाहिर हुआ कि जिनका विवाह कराया जा रहा है वे तो पहले से ही शादीशुदा है। वहीं वैवाहिक बेदी पर केवल हस्ताक्षर करने के लिए दूल्हा दुल्हन पहुंचे। जब एक पंडित से कई वैवाहिक जोड़ों की फेरे नहीं कराए जाने की बात पूछी गई, तो उन्होंने कहा कि दूल्हा दुल्हन फेरे नहीं कराना चाहते थे। सवाल यह उठता है कि हिंदू रीति रिवाज में बिना फेरे के शादी अधूरी ही मानी जाती है। ऐसे में पंडित द्वारा फेरे नहीं कराना पूर्व से शादी हो जाने की बात को सिद्ध करता है। ऐसे में मुख्यमंत्री कन्यादान योजना की मॉनिटरिंग एवं सफलता पर सवाल खड़े होते हैं। साथ ही आयोजन कर्ताओं के फर्जीवाड़ा पर भी मोहर लग रही है।