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महिला का रेल यात्रा के दौरान चोरी हुआ सामान, अब रेलवे करेगा 6 लाख रुपये का भुगतान

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May 17, 2019

धर्मेन्द्र शर्मा : उपभोक्ता संरक्षण फोरम ने गाजियाबाद की रहने वाली एक महिला को उसके रेल यात्रा के दौरान चोरी हुए बैग के एवज में 6 लाख रुपए का भुगतान करने के आदेश जारी किए हैं। साथ ही महिला को उपभोक्ता फोरम में याचिका लगाने के लिए हुए खर्च के रूप में 2 हजार रुपए देने के भी निर्देश दिए हैं। 

उपभोक्ता फोरम के मुताबिक
उपभोक्ता फोरम ने कहा है कि यात्रियों की सुरक्षा और उनके सामान की रक्षा से रेलवे अपना पल्ला नहीं झाड़ सकता। दरअसल कशिश मोहम्मद अब्बास नामक महिला भोपाल से हजरत निजामुद्दीन जाने के लिए हबीबगंज स्टेशन से भोपाल एक्सप्रेस से रवाना हुई थी। रात तकरीबन 3 बजे जब कशिश और उनके पति मोहम्मद अब्बास सो रहे थे तभी बोगी में दो युवक घुस आए। इस बीच कशिश के पति बाथरूम चले गए लौट कर आए तो महिला के सिरहाने रखा बैग गायब था। जिसमें छह लाख रुपए के सोने-चांदी के जेवरात रखे हुए थे।

दंपत्ति ने जीआरपी में दर्ज कराई शिकायत
दूसरे दिन सुबह निजामुद्दीन स्टेशन पहुंचने पर इसकी शिकायत दंपत्ति ने जीआरपी में दर्ज कराई लेकिन मामला ग्वालियर के आसपास का था इसलिए पूरे मामले को ग्वालियर जीआरपी रेफर कर दिया गया। 2 फरवरी 2017 को कशिश ने ग्वालियर के उपभोक्ता फोरम में अपने चोरी हुए सामान को लेकर दावा पेश किया। इस मामले में फोरम ने नार्थ सेंट्रल रेलवे को 6 लाख रूपए का भुगतान याचिकाकर्ता महिला को देने के आदेश दिए। 26 महीने तक यह केस उपभोक्ता फोरम में चलता रहा।

महिला यात्री को 6 लाख रुपए का भुगतान करने के निर्देश
रेलवे का कहना था कि इस मामले को खारिज किया जाए। क्योंकि महिला बर्थ पर सो रही थी तब उसका पर्स चोरी हुआ था। जबकि फोरम का कहना था कि बर्थ सोने के लिए ही बुक कराई जाती है और जब दंपत्ति का सामान चोरी हुआ तो ट्रेन की बोगी में ना तो कोच अटेंडर मौजूद था न ही टीटीई मौजूद था, ऐसे में दंपति शिकायत कराने कहां जाते। रेलवे का यह भी कहना था कि उक्त सामान के बारे में कोई बीमा आदि नहीं कराया गया था लेकिन उपभोक्ता फोरम में रेलवे की किसी बात को नहीं माना और महिला यात्री को 6 लाख रुपए का भुगतान करने के निर्देश दिए।