Nov 12, 2017
गरियाबंद : जिले में मंत्री का मौखिक आदेश उनके विभाग के लिखित आदेश पर भारी पड़ गया। लिखित आदेश शिथिल हो गया और मौखिक आदेश पर अमल हो गया। दरअसल, बीते 14 अगस्त को छत्तीसगढ़ शिक्षा विभाग द्वारा फिंगेश्वर विकासखंड के लोहरसी मिडिल स्कूल में पदस्थ शिक्षक धर्मेन्द्र सिंह ठाकुर का स्थानांतरण शिक्षकों की कमी से जूझ रहे देवभोग विकासखंड के दीवानमुडा मिडिल स्कूल में किया गया था।
इस पर जिला शिक्षा अधिकारी ने विभाग के आदेश को आगे बढ़ाते हुए 21 अगस्त को लोहरसी स्कूल के प्रधान पाठक को पत्र लिखकर शिक्षक को जल्द से जल्द कार्य मुक्त करने का निर्देश दिया था। प्रधान पाठक ने आदेश का पालन करते हुए 21 सितंबर को शिक्षक को कार्य मुक्त कर दिया। इसके बाद 27 सितंबर को जिला शिक्षा अधिकारी ने प्रधान पाठक के नाम पत्र लिखकर शिक्षक को यथावत रखने का निर्देश दे दिया।
लिहाजा, इस आदेश के बाद शिक्षक अभी भी लोहरसी में ही अपनी सेवाएं दे रहा है। हालांकि मामले का खुलासा तब हुआ जब लोहरसी से कार्य मुक्त होने के बाद भी शिक्षक ने दीवानमुडा स्कूल में अपनी आमद नहीं दी। अभिभावकों और बीईओ ने जब इस बारे में पतासाजी की, तो पता चला कि शिक्षक दीवानमुडा की बजाय लोहरसी में ही अपनी सेवाएं दे रहा है। बहरहाल, मंत्री के इस मौखिक आदेश का असर ये हुआ कि दीवानमुडा मिडिल स्कूल में पढ़ने वाले 104 बच्चों को फिलहाल एक शिक्षक से ही काम चलाना पड़ेगा।