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एक शाम शहीदों के नाम कवि सम्मेलन, भूतपूर्व सैनिकों का किया सम्मान

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Oct 5, 2018

देवेन्द्र कुशवाहा - सुहागपुर में एक कल्याणी साहित्य अनुष्ठान के अंतर्गत एक शाम शहीदों के नाम कवि सम्मेलन कार्यक्रम का आयोजन किया गया जिसमें देश के अंतरराष्ट्रीय अपना नाम अंकित करने वाले हैं कवियों ने प्रस्तुति दी कार्यक्रम का आयोजन प्रतिवर्ष प्रदेश प्रवक्ता भाजपा राजू मालवीय द्वारा किया जाता है अखिल भारतीय कवि सम्मेलन देर रात्रि तक चला, इसमें सुहागपुर के शिक्षा मित्र अरविंद सिंह चौहान, पुष्पक देशमुख, शंभू सिंह मनोहर ज्योति त्रिपाठी, अशोक नगर, मनवीर मधुर और मदन मोहन समर वीर रस की कविताओं से मंत्रमुग्ध कर दिया।

वहीं अशोक नगर हास्य कवि के माध्यम से लोगों को खूब गुदगुदाया अरविंद सिंह चौहान ने इंदिरा गांधी की शहादत पर सुनाया, दुर्दांत क्षण था वह भारतीय इतिहास का बेअंत ने अंत किया बेअंत विश्वास का शंभू सिंह की कविता जो अटल जी पर लिखी थी लैला मजनू श्री फरार डूब गए उस दिन रांझा और हीर बहने लगे यह रणधीर छोड़ो वह रणधीर छोड़ो उस दिन सारे रणधीर बहने लगे नदियां तो बहती है बहती रही है सदा उस दिन नदियों के तीर बहने लगे अटल बिहारी जब धरा छोड़ जाने लगे धरती की आंखों से भी नीर बहने लगे।

पुष्पक देशमुख ने सत्ता के जख्म दिल में चोट बनकर रह गए आज देश के लोग वोट बन कर रह गए उसके न्यू के पत्थर नोट बन कर रह गए ज्योति त्रिपाठी ने मैं गीत नहीं लिखती हूं परवाना का मैं गीत नहीं लिखती हूं मैनन अफजल के दीवानों का मैं गीत नहीं लिखती हूं ,गम में डूबी हुई रवानी का मैं गीत नहीं लिखती हूं, मुन्नी शीला और जवानी का सीमा के उच्च शिखरों पर मैं आक्रोष सुनाती हूं, हम वीर शिवाजी के वंशज हैं तोरण चंडी का रोस सुनो अशोकनगर ने आज के माध्यम से श्रोताओं को खूब हंसाया मनवीर मधुर ने देश की जवानी को जो खोकला किए हुए हैं।

फैशन की दौड़ में यूं ही दौड़ते रहे तो हम ही युवा इस देश का भविष्य हैं हम ही मिट गए तो देश बढ़ जाएगा मदन मोहन समर ने हम तिरंगा करो घोषणा हिंदुस्तान जवान है और मैं भूत भूत हु अभूत सत्यता के दूत हो नित्य हो अभूत हो से युबाओ को पेरणा दी इस मौके पर विधयाक विजय पाल सिंह नगर परिषद अध्यक्ष सन्तोष मालवीय पंडित मनमोहन प्रसाद मुद्गल पण्डित राजेन्द्र सहरिया मेहरवान सिंह पटेल ग्रहस्त संत राजा भेया पटेल सहित हजारों श्रोताओ ने कविताओं का आनंद लिया।