Jun 13, 2025
अहमदाबाद प्लेन क्रैश: भगवद्गीता का चमत्कार, आग के गोले में भी सही-सलामत बची पवित्र किताब
गुजरात के अहमदाबाद में हुए दिल दहला देने वाले प्लेन क्रैश ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। 12 जून 2025 को एयर इंडिया की फ्लाइट AI-171, जो अहमदाबाद से लंदन जा रही थी, टेकऑफ के महज दो मिनट बाद मेघानी नगर इलाके में क्रैश हो गई। इस भयावह हादसे में 265 लोगों की जान चली गई, जिसमें गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी और 12 क्रू मेंबर्स शामिल थे। लेकिन इस त्रासदी के बीच दो चमत्कारों ने लोगों का ध्यान खींचा है। एक, सीट नंबर 11A पर बैठे रमेश विश्वास कुमार का चमत्कारिक रूप से जिंदा बचना, और दूसरा, भीषण आग में भगवद्गीता की एक प्रति का सही-सलामत मिलना।
आग के बीच भगवद्गीता की सलामती: एक दैवीय संकेत?
हादसे के बाद जब राहत और बचाव दल मलबे को हटाने में जुटा था, तब उन्हें राख और धुएं के बीच एक भगवद्गीता की प्रति मिली। 1,000 डिग्री सेल्सियस की भीषण गर्मी और आग के गोले में जहां पेड़-पौधे, जानवर और इंसान तक राख बन गए, वहां इस पवित्र ग्रंथ के पन्नों को कोई खास नुकसान नहीं हुआ। राहतकर्मियों ने बताया कि किताब पर बस हल्की-सी कालिख थी, और इसके पन्ने पूरी तरह पढ़ने योग्य थे। एक स्वयंसेवक ने कहा, “यह देखकर हमें यकीन नहीं हुआ। इतने भयानक हादसे में सब कुछ जल गया, लेकिन भगवद्गीता बिल्कुल सही-सलामत थी। यह कोई चमत्कार ही हो सकता है।
स्थानीय लोग और राहतकर्मी इसे आस्था से जोड़ रहे हैं
सोशल मीडिया पर भी यह घटना चर्चा का विषय बनी हुई है। कई यूजर्स ने लिखा, “श्रीकृष्ण की गीता को आग भी नहीं जला पाई, यह कलियुग में एक बड़ा संदेश है।” कुछ ने इसे आस्था की विजय बताया, तो कुछ ने इसे दैवीय शक्ति का प्रतीक माना।रमेश विश्वास कुमार: इकलौते बचे यात्री का चमत्कारइस हादसे में 242 यात्रियों में से केवल एक यात्री, रमेश विश्वास कुमार, चमत्कारिक रूप से जीवित बचे। वे सीट नंबर 11A पर बैठे थे और गंभीर रूप से घायल होने के बावजूद उनकी जान बच गई। रमेश ने बताया, “टेकऑफ के 30 सेकंड बाद एक जोरदार आवाज सुनाई दी, और फिर सब कुछ पलक झपकते खत्म हो गया। जब मैं होश में आया, तो मेरे चारों ओर शव बिखरे थे। मैं डर गया और दौड़ने लगा।” उन्हें तुरंत अस्पताल ले जाया गया, जहां उनका इलाज चल रहा है।
हादसे की भयावहता:
265 लोगों की मौतएयर इंडिया का बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर विमान दोपहर 1:38 बजे उड़ान भरने के बाद 1:40 बजे मेघानी नगर के एक मेडिकल कॉलेज की इमारत से टकरा गया। इस हादसे में विमान में सवार 241 लोग और मेडिकल कॉलेज के हॉस्टल में मौजूद 15 से ज्यादा लोग मारे गए। विमान में 169 भारतीय, 53 ब्रिटिश, 7 पुर्तगाली और 1 कनाडाई नागरिक सवार थे। इनमें 103 पुरुष, 114 महिलाएं, 11 बच्चे और 2 नवजात शामिल थे। हादसे की वजह संभावित रूप से टेकऑफ के दौरान कॉन्फिगरेशन एरर और 43 डिग्री सेल्सियस की गर्मी को माना जा रहा है।
सोशल मीडिया पर भावनात्मक लहर
भगवद्गीता की सलामती और रमेश विश्वास कुमार के बचने की घटना ने सोशल मीडिया पर एक भावनात्मक लहर पैदा कर दी है। लोग इसे चमत्कार मान रहे हैं और इसे आध्यात्मिक दृष्टिकोण से जोड़कर देख रहे हैं। एक यूजर ने लिखा, “यह भगवान श्रीकृष्ण का आशीर्वाद है कि उनकी गीता आग में भी सुरक्षित रही।” जांच एजेंसियां हादसे के तकनीकी कारणों की पड़ताल कर रही हैं, लेकिन ये दो घटनाएं आस्था और चमत्कार की कहानी बन गई हैं।








