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जबलपुरः ऋषभ जैन की हत्या का खुलासा, आरोपी किये गये गिरफ्तार

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Jun 17, 2019

अरविंद दुबे- 2 दिन पूर्व  हुई ऋषभ जैन की हत्या के मामले में पुलिस ने हत्या को अंजाम देने वाले तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। ऋषभ जैन से लिया हुआ कर्जे को वापस ना करना पड़े और ऋषभ के परिजनों से फिरौती की रकम वसूलने के लिए आरोपियों ने वारदात को अंजाम दिया है।

जबलपुर के भेड़ाघाट थाना अंतर्गत आने वाले स्वर्गद्वारी में पुलिस को 2 दिन पूर्व एक अज्ञात शव बरामद हुआ था। शव की पहचान  क्षेत्र में ही रहने वाले और मूर्ति की दुकान के संचालक ऋषभ जैन के रूप में हुई थी। ऋषभ घर से अपनी मोटरसाइकिल पर किसी रिश्तेदार के यहां कार्यक्रम में शामिल होने गया था, लेकिन 24 घंटे बीतने के बाद भी वह अपने घर नहीं पहुंचा। तब गुमशुदगी की रिपोर्ट परिजनों ने भेड़ाघाट थाने में दर्ज कराई थी।

उधार ली गई रकम को वापस नहीं करना चाहते थे दोस्त

लापता होने के ठीक 2 दिन बाद पुलिस को रेत में दबी हुई एक लाश मिली, जिस की शिनाख्त गुमशुदा ऋषभ के रूप में हुई। हत्यारों ने पत्थर से कुचल कर और चाकूओं से गोदकर हत्या की वारदात को अंजाम दिया था। पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए अपनी जांच प्रारंभ की और मृतक ऋषभ के दोस्तों और पड़ोसियों से पूछताछ शुरू की, जिसमें पाया कि ऋषभ ने कुछ महीने पूर्व पुरुषोत्तम रजक को लगभग दो लाख रुपये दिए थे। इसके साथ ही ऋषभ ने अपने दो दोस्तों वीरेंद्र और शिवा भूमिया को भी कुछ रकम उधार दी थी। ऋषभ इन तीनों से पैसा वापस मांग रहा था। पुरुषोत्तम उधार ली गई रकम को वापस नहीं करना चाहता था। इसके लिए उसने ऋषभ की हत्या की साजिश रची और हत्या करने के बाद फिरौती की रकम मांगने का प्लान बनाया।

इस तरह से दिया गया वरदात को अंजाम

पुरुषोत्तम और उसके दो साथियों वीरेंद्र और शिवा ने 13 जून को ऋषभ को नर्मदा नदी के किनारे एक सूनसान जगह पर शराब पीने के लिए बुलाया। ऋषभ के आने के बाद पुरुषोत्तम उसके साथ शराब पीने लगा। इसी बीच वीरेंद्र ने ऋषभ के सिर पर पत्थर पटक दिया। इसके बाद शिवा ने चाकू से हमला कर दिया, जिससे कुछ ही देर में ऋषभ की मौत हो गई। हत्या करने के बाद आरोपियों ने नजदीक पड़ी रेत के ढेर में ऋषभ के शव को दबा दिया और उस पर दी एंड लिखकर भाग गए। हत्या के आरोपी ऋषभ के मोबाइल फोन से उसके परिजनों से दो लाख फिरौती की रकम मांगने वाले थे, लेकिन हत्या करने के बाद पुलिस की कार्यवाही देख कर घबरा कर, उन्होंने प्लान बदल दिया और परिजन के साथ मिलकर ऋषभ को खोजने का दिखावा करने लगे।

पुलिस ने शक के आधार पर जब पूछताछ की, तो आरोपियों ने वारदात को अंजाम देना स्वीकार कर लिया। बहरहाल इस हत्या की गुत्थी को पुलिस ने सुलझा लिया है, साथ ही इस हत्याकांड में यह बात भी सामने आई है कि बीजेपी कार्यकर्ता की हत्या करने वाले खुद भी बीजेपी के स्थानीय नेता हैं।