Loading...
अभी-अभी:

बागलीः जंगल में लगभग 100 से अधिक बन्दर पानी की तलाश में मर गये

image

Jun 8, 2019

रवि पाटीदार- बागली उप वन मंडल के पुंजापुरा रेंज  के तहत जोशी बाबा के जंगल कक्ष क्रमांक 540 में भीषण गर्मी के चलते सूरज की आग उगलती धूप के कारण लगभग 100 से अधिक  बंदरों की मौत हो चुकी है। हालांकि वन विभाग सिर्फ 15-20 बंदरों की मौत होना ही बता रहे हैं। जिसके बाद से ही वन विभाग में हडकंप मच चुका है। गांव मानसिंपुरा के एक बकरी चराने वाले 12 वर्षीय बालक ने पूरे मामले का 6 जून को खुलासा किया।

बंजरग दल के कार्यकर्ताओं ने किया मामले का खुलासा

बालक जंगल में बकरी चराने जाता था। उस दौरान जब पानी के लिए बंदरों को तड़पते हुए देखा तो 3 दिनों तक बालक ने अपने पास रखा पानी बंदरों को पिलाया। उसी दौरान जब उसने देखा कि मरे हुए बंदर पड़े हुए हैं तो उसकी सूचना गांव के बजरंग दल शिवसेना के कार्यकर्ताओं को दी। जिस वजह से मामला वन विभाग के संज्ञान में आया। बंदरों की मौत का मामला जैसे ही वन विभाग के संज्ञान में आया, व सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल होने लगे तो हड़कंप सा मच गया। मामले का खुलासा होने पर वन विभाग द्वारा हाथों-हाथ जंगल में बंदरों के लिए पीने के पानी के लिए अलग-अलग तीन से चार जगह टंकी रख कर पानी भरा गया।

वन विभाग के डीएफओ ने कहा दोषी कर्मचारी व अधिकारी के खिलाफ कार्यवाही की जाएगी

शुक्रवार 7 जून को वन विभाग के डीएफओ एनके मिश्रा भी जंगल पहुंचे और पूरे मामले की गंभीरता से जानकारी ली गई। वहीं डीएफओ द्वारा डियो फॉर द्वारा सख्त निर्देश दिए गए हैं, जहां पर बंदर रहते हैं उक्त स्थानों पर पीने के पानी की व्यवस्था की जाए। साथ अधिकारी ने कहा है कि मामले की जांच कर जिम्मेदार दोषी कर्मचारी अधिकारी के खिलाफ कार्यवाही भी की जाएगी। उक्त स्थानों पर बन्दरों के शव एवं कंकाल भी जगह-जगह पड़े हुए थे, तो कहीं जगह कंकाल जले हुए पड़े थे। पुंजापुरा रेन्ज के तहत जोशी बाबा के जंगल में बंदरों की मौत हुए क्योंकि जंगल में न तो कुछ खाने को है, न ही पीने का पानी। ऊपर से 44-45 डिग्री तापमान, ऐसे में वन प्राणियों का जीना दुश्वार हो रहा है। जंगल में स्थित खाई एवं पेड़ों की जड़ों में ही बंदरों की मौत हो गई एवं शव सूख चुके थे।