Oct 14, 2019
मध्य प्रदेश में कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने एक बार फिर राज्य की कमलनाथ सरकार को संकेतों में चुनौती दी है। सिंधिंया बीते कई दिनों से अपनी ही सरकार के खिलाफ मोर्चा खोले हुए हैं। सिंधिया मध्य प्रदेश के श्योपुर के जमातखाना में मुस्लिम समाज के विभिन्न संगठनों से संवाद कार्यक्रम को संबोधित करने के दौरान कहा कि सरकार किसी की भी हो, सांप्रदायिक सद्भाव बचाए रखना मेरी जिम्मेदारी है और मैं इस जिम्मेदारी को भली-भांति निभाने में सक्षम हूं। सरकार बात नहीं सुनेगी तो मैं आपकी आवाज बनूंगा।
सिंधिया का बयान, अभिव्यक्ति के अधिकार को नहीं छीना जाना चाहिए
दरअसल शहर काजी अतीक उल्लाह कुरैशी की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम में मुख्य अतिथि सिंधिया से शिकायत की गई थी कि पूर्व की बीजेपी सरकार की तरह मौजूदा सरकार भी उनके साथ भेदभाव कर रही है। इस पर सिंधिया ने कहा कि मुझे इसकी कोई परवाह नहीं है कि सरकार किसकी है, लेकिन अभिव्यक्ति के अधिकार को नहीं छीना जाना चाहिए, मैं इस बात का पक्षधर हूं। कांग्रेस नेता ने बीते दिनों भिंड में कांग्रेस कार्यकर्ताओं की संगोष्ठी में प्रदेश सरकार के कामकाज को लेकर तीखे तेवर दिखाए और सरकार पर करारा प्रहार किया। उन्होंने कहा कि किसानों के सिर्फ 50 हजार रुपये तक के कर्ज माफ हुए हैं, जबकि हमने दो लाख तक का कर्ज माफ करने की बात कही थी। किसानों के दो लाख रुपये तक के कर्ज माफ होने चाहिए। दरअसल सिंधिया राज्य में इन दिनों अपनी ऩई भूमिका तलाशऩे में जूटे हैं। विधानसभा चुनाव के बाद हालिया लोकसभा चुनाव में भी सिंधिया को चुनावी हार के रूप में बड़ा झटका लगा है।