Loading...
अभी-अभी:

पाकिस्तान में भी लागू होगा 'शरिया कानून'

image

Oct 11, 2021

अफगानिस्तान में आतंकी संगठन तालिबान के कब्जे के पहले और बाद से उसके मुरीद बने पाकिस्तान पीएम इमरान खान तालिबानी तरीके से ही अपने देश में भी इस्लाम का शरिया कानून लागू करना चाहते हैं। इसके लिए उन्होंने पहल भी कर दी है। रविवार को इमरान खान ने ‘रहमतुल लील आलमीन अथॉरिटी’ के गठन की घोषणा की है। इमरान खान ने इसका उद्देश्य भी बताया है। उन्होंने कहा है कि इस अथॉरिटी का मुख्य उद्देश्य पाकिस्तान की शिक्षा प्रणाली को शरिया कानून के अनुसार बनाना है। इस फैसले से इमरान ने अपने मंसूबों को स्पष्ट कर दिया है कि वो देश को किस दिशा में ले जाना चाहते हैं।

इमरान खान ने रखी तालिबानी कानून की बुनियाद

इमरान खान सरकार के इस फैसले को लेकर कहा जा रहा है कि खान ने पाकिस्तान में भी औपचारिक तरीके से तालिबानी कानून की बुनियाद रख दी है। पीएम इमरान खान ने कहा कि यह विभाग अध्ययन करेगा कि कोई पैगंबर के जीवन से किस तरह सीख सकता है। इस्लामाबाद में ‘अशरा-ए-रहमत-उल-लिल-अलामिन’ सम्मेलन को संबोधित करते हुए इमरान खान ने कहा कि नई अथॉरिटी उन विद्वानों को मिलाकर बनेगी, जिन्हें इस बात पर रिसर्च करने का काम सौंपा जाएगा कि बच्चों और वयस्कों के बीच पैगंबर की शिक्षाओं को किस तरह फैलाया जाए और इसे उनके जीवन के लिए प्रासंगिक बनाया जाए।

इस्लाम शांति और इंसानियत का मजहब 

इमरान ने आगे कहा कि, 'मैं खुद मेंटर बनूँगा, मगर हमने एक ऐसे शख्स की तलाश शुरू कर दी है जिसने तफ़सीर की किताबें लिखी हों, जिसकी इस्लाम पर पकड़ हो और वह एक विद्वान हो। इमरान ने कहा कि, 'उनके ऊपर एक अंतरराष्ट्रीय सलाहकार बोर्ड होगा, जिस पर हम मुस्लिम जगत के शीर्ष विद्वानों को लाएँगे – हमने कई नाम देखे हैं और उनसे संपर्क भी कर रहे हैं।' उन्होंने कहा कि इस्लाम शांति और इंसानियत का मजहब है और पश्चिम इसे नहीं समझता है। इसलिए अथॉरिटी के पास विश्व के सामने इस्लाम की व्याख्या करने का भी काम होगा। उन्होंने आगे कहा कि, 'जब वे विश्व को पैगंबर के जीवन के बारे में बताएँगे, तब लोग समझेंगे कि इस्लाम मानवता का धर्म है।'