Jul 5, 2024
BJP's damage control: लोकसभा चुनाव 2024 के नतीजों में बीजेपी का प्रदर्शन कुछ राज्यों में उम्मीद से ज्यादा खराब रहा है. इसमें यूपी से लेकर हरियाणा, राजस्थान और पश्चिम बंगाल जैसे राज्य शामिल हैं। अब चुनाव में झटका लगने के बाद बीजेपी डैमेज कंट्रोल में जुट गई है. पार्टी ने कई राज्यों में समीक्षा बैठकें की हैं. कार्यकर्ताओं ने सांसद और विधायकों के खिलाफ जमकर विरोध जताया है. इसके अलावा कार्यकर्ताओं ने संगठन के तरीके और टिकट बंटवारे पर भी नाराजगी जताई है. ऐसे में बीजेपी इन सभी मुद्दों पर विचार कर रही है.
मिली जानकारी के मुताबिक बीजेपी की समीक्षा बैठक में दूसरे दलों से आए नेताओं को ज्यादा तरजीह देना और मूल कैडर की नाराजगी भी मुख्य वजह बनी है. ऐसे में जल्द ही पार्टी के भीतर बड़े बदलाव के आसार हैं. आपको बता दें कि इस बार बीजेपी को 63 सीटों का नुकसान हुआ है और पार्टी को बहुमत पाने के लिए गठबंधन सहयोगियों की जरूरत है.
यूपी में हुआ सबसे ज्यादा नुकसान
बीजेपी को सबसे बड़ा नुकसान यूपी में हुआ जहां पार्टी का वोट प्रतिशत 49.98 फीसदी से गिरकर 41.37 फीसदी हो गया. यूपी में बीजेपी को हुई हार पर हुई समीक्षा बैठक में पार्टी नेताओं ने राज्य से लेकर केंद्र तक कमियां गिनाईं.
यूपी के नेताओं ने चुनावी हार को लेकर कहा कि अगर ये मुद्दे अभी नहीं सुलझे तो 2027 के विधानसभा चुनाव में यूपी में पार्टी की स्थिति खराब हो सकती है. नेताओं की मांग है कि दूसरे दलों से आये नेताओं को तो प्राथमिकता दी जाये लेकिन अपने नेताओं की उपेक्षा नहीं की जाये. यह भी गौरतलब है कि यूपी कोटे से जिन 11 नेताओं को मोदी सरकार में मंत्री पद दिया गया है, उनमें से सिर्फ तीन ही मूल कैडर से हैं.
इन राज्यों में भी बड़ी चुनौती
सूत्रों का यह भी कहना है कि अब कार्यकर्ताओं में ढिलाई आ सकती है. ऐसे में पार्टी तेजी से खामियों को दूर करने का काम कर सकती है, अगर ऐसा नहीं हुआ तो 2027 का विधानसभा चुनाव काफी मुश्किल हो सकता है. यूपी की तरह हरियाणा, महाराष्ट्र और राजस्थान में भी समीक्षा रिपोर्ट बीजेपी के लिए अच्छी नहीं रही है. पूर्वोत्तर की विभिन्न घटनाओं का ठीक से समाधान नहीं कर पाने का खामियाजा पार्टी को भुगतना पड़ा है. पश्चिम बंगाल में टीएमसी से पीड़ित कार्यकर्ताओं की चिंता न करना भी बीजेपी के लिए झटका साबित हुआ है.
संभावना है कि सभी राज्यों की रिपोर्ट सामने आने के बाद पार्टी संगठन से लेकर राज्य सरकार तक बड़े बदलाव कर सकती है। कई मंत्रियों को इस्तीफा भी देना पड़ सकता है.