Jan 11, 2022
पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा 9 जनवरी को श्री गुरु गोबिंद सिंह के दो साहबजादों की शहादत की याद में 26 दिसंबर को वीर बाल दिवस के रूप मनाए जाने का ऐलान किया गया। लेकिन पीएम मोदी के इस ऐलान को लेकर सिख संगठनों ने आपत्ति जताई है। शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने कहा है कि हम पीएम मोदी की भावना सराहना करते हैं, किन्तु छोटे साहिबज़ादों की शहादत को बाल संज्ञा से जोड़ना सिख परंपराओं के अनुरूप नहीं है।
अब हर साल 26 दिसंबर को मनाया जायेगा ‘वीर बाल दिवस
पीएम मोदी ने 9 जनवरी को अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से ट्वीट करते हुए कहा था कि, 'आज श्री गुरु गोविंद सिंह जी के प्रकाश पर्व के शुभ अवसर पर, मुझे यह ऐलान करते हुए गर्व हो रहा है कि इस साल से प्रत्येक 26 दिसंबर को ‘वीर बाल दिवस’ के तौर पर मनाया जाएगा। यह साहिबज़ादों के साहस और न्याय की उनकी तलाश के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि है।
“बाल” शब्द के इस्तेमाल पर पुन: समीक्षा की अपील
पीएम मोदी के इस फैसले को लेकर शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी , और सिख धर्मस्थलों का प्रबंधन करने वाली सबसे बड़ी संस्था ज्ञानी हरजिंदर सिंह, अकाल तख्त के अभिनय जत्थेदार और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के पूर्व सहयोगी शिरोमणि अकाली दल (शिअद) ने साहिबजादे के लिए “बाल” शब्द के इस्तेमाल को लेकर पुन: समीक्षा करने की अपील की है।