Feb 2, 2023
आज शाम 150 करोड़ रुपए के नए भवन में सरकार का गृह प्रवेश
भोपाल, आज दिल्ली में मप्र के आकार का विस्तार हो रहा है। यहां मप्र सरकार के तीसरे भवन में 'गृहप्रवेश' का कार्यक्रम शाम को होगा। इसके लिये मुख्यमंत्री समेत उनके सभी मंत्री दिल्ली पहुंरहे हैं। इसके पहले आज शिवराज भाजपा कार्यालय भी गये और स्मार्ट पार्क में उन्होंने ई बाइक का लोकार्पण करके ग्रो ग्रीन का संदेश दिया। उधर पूर्व सीएम उमाभारती ने शराब पर अपने रुख को लेकर फिर तीखी बात कही है। करीब डेढ सौ करोड़ की लागत वाले मप्र भवन को चाणक्यपुरी मे बनाया गया है। यहां कुल सौ से ज्यादा कमरे हैं। मप्र सरकार का चाणक्यपुरी में ही करीब चालीस साल पुराना भवन भी मौजूद है और वसंत कुंज में मध्यांचल के नाम से भवन भी है।
चंडीगढ़ और ग्रेटर नोएडा की तर्ज पर भोपाल में पीपीपी मोड
राजधानी में आज से स्मार्ट सिटी कंपनी ने इलेक्ट्रिक बाइक की शुरुआत की है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान स्मार्ट सिटी पार्क में 75 इलेक्ट्रिक बाइक को हरी झंडी दिखाई। शहर में इन इलेक्ट्रिक बाइक के लिए छह डाकिंग स्टेशन बनाए गए है। ये स्टेशन टीटी नगर स्टेडियम, आईएसबीटी, एमपी नगर जोन-1, प्लेटिनम प्लाजा (अटल पथ), वन-विहार एवं बोट क्लब पर बने हैं। आवश्यकता व नागरिकों की मांग के अनुसार इलेक्ट्रिक बाइक व डाकिंग स्टेशनों की संख्या बढ़ाई जाएगी।
कंपनी पहले पांच सौ ई-बाइक के साथ शुरूआत करने की तैयारी में थी। तकनीकी अड़चनों के कारण इसे 75 ई-बाइक के साथ शुरू किया है। स्मार्ट सिटी कंपनी के सीईओ गौरव बैनल ने बताया कि इन बाइक के एवज में स्मार्ट सिटी कंपनी ने कोई रकम खर्च नहीं की है। संचालन करने वाली कंपनी कुल आय की 10व रकम स्मार्ट सिटी कंपनी को देगी। एक चार्जिंग में एक ई-बाइक 35 किमी की दूरी तय कर सकेगी। इसके लिए एक एप्लीकेशन बनाई गई है। इसके जरिए ई-बाइक पर लगे क्यूआर कोड स्कैन करते ही बाइक अनलॉक हो जाएगी। कंपनी मौके पर जाकर बदलेगी बैटरी: पहले 15 मिनट के एवज में उपभोक्ता को 20 रुपए देना होगा। इसके बाद हर मिनट पर एक रुपए चार्ज लगेगा। हर ई-बाइक को जीपीएस के जरिए स्मार्ट सिटी दफ्तर में बने कंट्रोल रूम से मॉनिटर किया जाएगा। यदि किसी बाइक की बैटरी डिस्चार्ज होती है तो संचालन कंपनी का स्टाफ मौके पर पहुंचकर बैटरी बदलेगा।
उमाभारती ने कहा... फांसी दे दो!
उधर पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती शराब को लेकर अपने विरोध के साथ रामराजा सरकार की नगरी ओरछा पहुंची तो तीखी बातें फिर कह डालीं। उन्होंने धार्मिक नगरी में चल रही शराब की दुकानों का विरोध किया व आज दुकान के सामने पांच गाय बांध दी। उन्होंने कहा कि रामराजा सरकार की नगरी में शराब की दुकान का क्या औचित्य, लोगों की लत का उपयोग कर रुपए बनाना सरकार का धर्म नहीं है। उन्होंने कहा कि राम का नाम लेने वाले मूल दोषी हैं। मैंने इस सरकार के लिए वोट मांगे हैं, इसलिए मुझे फांसी पर लटकाओ। ओरछा में नियम विरूद्ध चल रही शराब दुकानों के खिलाफ पूर्व मुख्यमंत्री ने अपने तेवर सख्त करते हुये साफ कहा कि शराब की दुकान के लिए गांव अलॉट था, बीच नगर में दुकान अलॉट नहीं हुई थी। जिला आबकारी अधिकारी को तय करना था। आबकारी अधिकारी को शर्म आना चाहिए थी, शराब दुकान वाले तो अपना फायदा सोचेंगे।