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खंडवाः चुनावी रणनीति के अनुभवी के सामने चुनाव हारे विधायक को उतारा

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Apr 6, 2024

अरुण यादव टिकट का संघर्ष हारे, समर्थक को नहीं दिलवा पाए टिकट

भोपाल। स्वतंत्रता संग्राम के संघर्ष में अपनी कलम से लोगों मे जोश भरने वाले महान सेनानी स्व. माखनलाल चतुर्वेदी की जन्मस्थली के कारण प्रसिद्ध खंडवा में लोकसभा चुनाव 2024 के चुनावी रण सज चुका है। यहां से कांग्रेस ने आज घोषित उम्मीदवारों की सूची में पूर्व सांसद के भजीते नरेंद्र पटेल को मैदान में उतारा है। वहीं भाजपा ने इस सीट से लोकसभा उपचुनाव में जीत दर्ज करने वाले ज्ञानेश्वर पाटिल पर फिर से भरोसा कर टिकट दिया है। सहकारिता के कद्दावर नेता रहे स्व. सुभाष यादव व उनके पुत्र अरुण यादव के प्रभुत्व वाले इस क्षेत्र में कांग्रेस ने काफी कशमकश के बाद आखिरी में टिकट तय किया है। हालांकि अरुण यादव अपने समर्थक को टिकट दिलाने में नाकाम रहे हैं। कोरोना काल के तुरंत बाद हुए लोकसभा उपचुनाव में भाजपा ने यहां कांग्रेस को जबरदस्त शिकस्त दी थी। पिछले 5 चुनाव से यह सीट भाजपा के खाते में है।

प्रत्याशी परिचय

भाजपाः ज्ञानेश्वर पाटिल

खंडवा के लोकप्रिय सांसद रहे नंदकुमार सिंह चौहान के निधन से रिक्त पर उपचुनाव में भाजपा ने पहली बार ज्ञानेश्वर पाटिल को मौका दिया था। इस उपचुनाव में पाटिल ने जीत दर्ज की थी। इसके बाद इस चुनाव में भी पार्टी ने पाटिल पर भरोसा कर टिकट दिया है। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से छात्र राजनीति करने वाले पाटिल जिला पंचायत के अध्यक्ष रह चुके हैं। भारतीय जनता युवा मोर्चा में महामंत्री व प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य रहे पाटिल पंचायत राज प्रकोष्ठ महामंत्री रह चुके हैं। उन्होंने भाजपा का इस क्षेत्र में चुनाव प्रबंधन का काम भी देखा है।

कांग्रेसः नरेंद्र पटेल

खंडवा से कांग्रेस प्रत्याशी परिचय के मोहताज नहीं है। राजनैतिक परिवार से ताल्लुक रखने वाले पटेल 2023 का विधानसभा चुनाव बड़वाह से लड़ चुके हैं। इस चुनाव में कांग्रेस से भाजपा में गए सचिन बिरला ने पटेल को हराया था। गुर्जर समुदाय से आने वाले पटेल के परिवार से चाचा ताराचंद पटेल विधायक व सांसद रहे हैं। नरेंद्र पटेल कांग्रेस के छात्र संगठन से राजनीति की शुरूआत की है। पटेल युवा कांग्रेस में महामंत्री रहे हैं। जिला कांग्रेस में भी महामंत्री एवं ब्लाक कांग्रेस अध्यक्ष सहित अन्य पदों पर रह चुके हैं।

खंडवा लोकसभा क्षेत्र

खंडवा लोकसभा सीट चार जिलों खंडवा, देवास, बुरहानपुर एवं खरगोन की विधानसभा सीटों को मिलाकर बनी है। इसमें खंडवा जिले की 3 विधानसभा खंडवा, मांधाता, पंधाना, देवास जिले की बागली, बुरहानपुर जिले की बुरहानपुर एवं नेपानगर एवं खरगोन जिले की भीकनगांव एवं बड़वाह विधानसभा सीट शामिल है।

खंडवा का चुनावी इतिहास

खंडवा लोकसभा सीट कभी कांग्रेस का गढ़ हुआ करती थी, लेकिन पिछले कुछ चुनावों से इस सीट पर भाजपा लगातार जीत दर्ज कर रही है। चुनावी इतिहास पर नजर डालें तो कांग्रेस ने यहां से 8 बार तथा भाजपा ने 7 बार चुनावी जीत दर्ज की है। एक बार कांग्रेस आई के प्रत्याशी ने चुनाव जीता है। वहीं जनता पार्टी ने भी 2 बार यहां से जीत दर्ज की है।

मतदाता

खंडवा लोकसभा सीट में 21 लाख मतदाता है। इसमें से 10 लाख 65 हजार पुरुष एवं 10 लाख 35 हजार महिला मतदाता हैं। 59 मतदाता थर्ड जेंडर के भी हैं।

 

Report By:
Author
ASHI SHARMA